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मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने पुलिसकर्मियों के साहस की सराहना, कहा- अब डंडे से नहीं, डेटा से करेगी काम पुलिस

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Place: Bhopal                                                👤By: prativad                                                                Views: 167

23 नवंबर 2024। भोपाल में शनिवार को मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने पुलिसकर्मियों के अदम्य साहस और सेवा भावना को सराहते हुए कहा कि कोरोना काल के कठिन समय में जब कई डॉक्टरों ने अपने क्लीनिक बंद कर दिए थे, पुलिस ने अपने कर्तव्य को निभाने के लिए अपनी जान की परवाह नहीं की। इस दौरान 155 पुलिसकर्मियों ने अपनी जान गंवाई। मुख्यमंत्री ने कहा, "इन वीरों ने सच्चे अर्थों में 'देशभक्ति और जनसेवा' का आदर्श प्रस्तुत किया। मैं ऐसे जांबाज योद्धाओं को सलाम करता हूं।"

मुख्यमंत्री ने यह बातें भोपाल में 12.5 करोड़ रुपये की लागत से बने अत्याधुनिक पुलिस चिकित्सालय 'स्वस्ति' के लोकार्पण समारोह में कहीं। उन्होंने पुलिस विभाग के अनुशासन और वित्तीय प्रबंधन की प्रशंसा करते हुए कहा कि यह अस्पताल उसकी प्रतिबद्धता का प्रमाण है।

पुलिस अब डेटा के जरिए करेगी अपराध पर नियंत्रण
मुख्यमंत्री ने 'ई-रक्षक' और 'दिशा लर्निंग ऐप' का लोकार्पण करते हुए कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के निर्देशानुसार अब पुलिस डंडे के बजाय डेटा के माध्यम से काम करेगी।

ई-रक्षक ऐप:
पुलिस के लिए यह ऐप क्रांतिकारी बदलाव लाएगा। इसके जरिए पुलिसकर्मी आदतन अपराधियों की जानकारी तुरंत प्राप्त कर सकेंगे। गश्त के दौरान संदिग्ध व्यक्तियों की पहचान, फेस रिकग्निशन मॉड्यूल और चोरी हुए वाहनों की जानकारी तक पहुंच संभव होगी। इसके साथ ही वाहन का रजिस्ट्रेशन, इंजन और चेसिस नंबर के जरिए भी पूरी जानकारी जुटाई जा सकेगी। यह ऐप चरणबद्ध तरीके से भोपाल, इंदौर और अन्य जिलों में ट्रायल के रूप में शुरू किया गया है।

दिशा लर्निंग ऐप:
पुलिसकर्मियों के बच्चों को बेहतर शिक्षा और करियर मार्गदर्शन देने के लिए यह ऐप तैयार किया गया है। 8वीं कक्षा और उससे आगे के छात्रों के लिए यह ऐप शिक्षा और रोजगार से संबंधित जानकारी प्रदान करेगा। जिलों और बटालियनों में दिशा लर्निंग सेंटर्स की स्थापना की गई है, जहां बच्चे आधुनिक तकनीक की मदद से अपनी पढ़ाई जारी रख सकेंगे।

40 हजार पुलिसकर्मियों को मिला सम्मान
मुख्यमंत्री ने कोरोना काल में उत्कृष्ट कार्य करने वाले 40 हजार पुलिसकर्मियों को 'कर्मवीर योद्धा पदक' और प्रशस्ति पत्र से सम्मानित किया। इस दौरान प्रतीकात्मक रूप से पांच पुलिसकर्मियों को पदक और प्रमाण पत्र प्रदान किए गए।

कार्यक्रम में पुलिसकर्मियों की बेटियों का स्वागत
कार्यक्रम के दौरान पुलिसकर्मियों की बेटियों ने मुख्यमंत्री का तिलक लगाकर स्वागत किया। मुख्यमंत्री को पुलिस बैंड के साथ सलामी दी गई। उन्होंने अस्पताल का निरीक्षण किया और विजिटर बुक में अपने विचार लिखे।

विशिष्ट अतिथियों की उपस्थिति
कार्यक्रम में खेल एवं युवा कल्याण मंत्री विश्वास सारंग, पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक कल्याण राज्य मंत्री कृष्णा गौर, महापौर मालती राय, सांसद आलोक शर्मा, विधायक भगवानदास सबनानी और पुलिस महानिदेशक सुधीर कुमार सक्सेना सहित कई वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित रहे।

पुलिस विभाग की नई पहल, भविष्य की दिशा तय
मुख्यमंत्री ने पुलिस महानिदेशक की प्रशंसा करते हुए कहा कि उनका नेतृत्व पुलिसकर्मियों के हितों के लिए आदर्श है। इस आयोजन ने पुलिस को नई तकनीक और संसाधनों से सशक्त बनाने के साथ ही उनकी सेवा भावना को और ऊंचाई दी।

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