7 जून 2024। आज के दौर में, कृत्रिम बुद्धिमत्ता (AI) तेज़ी से हमारे जीवन का हिस्सा बन रही है। स्वास्थ्य सेवा से लेकर परिवहन तक, शिक्षा से लेकर मनोरंजन तक, AI क्रांति ला रहा है। लेकिन इस क्रांति के लिए भारी मात्रा में बिजली की आवश्यकता होती है। क्या हमारे पास AI की बढ़ती मांग को पूरा करने के लिए पर्याप्त बिजली है?
यह सवाल जटिल है और इसका कोई आसान जवाब नहीं है। एक तरफ, AI को चलाने वाले कंप्यूटर और डेटा केंद्र बहुत अधिक ऊर्जा का उपयोग करते हैं। अनुमान है कि डेटा केंद्र वैश्विक बिजली खपत का 10% से अधिक उपयोग करते हैं, और यह आंकड़ा AI के बढ़ने के साथ बढ़ने की संभावना है।
दूसरी तरफ, AI ऊर्जा दक्षता में सुधार के लिए भी इस्तेमाल किया जा सकता है। उदाहरण के लिए, AI-संचालित स्मार्ट ग्रिड बिजली वितरण को अधिक कुशल बना सकते हैं, और AI-संचालित थर्मोस्टैट ऊर्जा खपत को कम कर सकते हैं।
तो, क्या हमारे पास AI के लिए पर्याप्त बिजली है? यह इस बात पर निर्भर करता है कि हम किस प्रकार की बिजली का उपयोग करते हैं। यदि हम जीवाश्म ईंधन पर निर्भर रहते हैं, तो AI जलवायु परिवर्तन को और भी बदतर बना सकता है। लेकिन अगर हम नवीकरणीय ऊर्जा स्रोतों, जैसे सौर और पवन ऊर्जा, में बदलते हैं, तो AI एक स्थायी भविष्य में योगदान दे सकता है।
AI के लिए ऊर्जा का उपयोग कम करने के लिए कई उपाय किए जा सकते हैं। इनमें अधिक ऊर्जा-कुशल AI एल्गोरिदम विकसित करना, डेटा केंद्रों को अधिक कुशल बनाना और नवीकरणीय ऊर्जा स्रोतों का उपयोग करना शामिल है। सरकारें और उद्योगों को मिलकर काम करने की आवश्यकता है ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि AI का विकास और उपयोग टिकाऊ तरीके से किया जाए।
AI में दुनिया को बदलने की क्षमता है, लेकिन हमें यह सुनिश्चित करने की आवश्यकता है कि हम इसका उपयोग जिम्मेदारी से करें। ऊर्जा का उपयोग कम करना AI को एक स्थायी भविष्य के लिए एक शक्तिशाली उपकरण बनाने में मदद कर सकता है।
कृत्रिम बुद्धिमत्ता: विशेषज्ञों का मानना है कि AI के लिए हमारे पास पर्याप्त बिजली नहीं
Place:
भोपाल 👤By: prativad Views: 2151
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