
8 अप्रैल 2017, नेशनल लोक अदालत में 851 सिविल एवं दाण्डिक प्रकरणों का निराकरण हुआ। कुल 4 करोड़ 47 लाख से ज्यादा की मुआवजा और समझौता राशि निर्धारित कर आज लोक अदालत का सफल आयोजन हुआ। नेशनल लोक अदालत में जिला न्यायालय के दीवानी, दाण्डिक, पारिवारिक विवाद, चेक बाउंस, प्रीलिटिगेशन, लोक उपयोगी सेवाओं संबंधी, नगर पालिका निगम अधिनियम एवं दुर्घटना दावा सहित विद्युत अधिनियम के प्रकरण की सुनवाई हुई। प्रकरणों का निराकरण पक्षकारों के मध्य राजीनामा के आधार पर किया। कुल 1415 पक्षकार लाभान्वित हुए।
शैलेन्द्र शुक्ला जिला न्यायाधीश/अध्यक्ष जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, भोपाल द्वारा अदालत का उदघाटन किया गया। जिला न्यायालय की 57 खण्डीपीठों तथा जिला न्यायालय के अलावा अन्य खण्डपीठों के पीठासीन अधिकारियों ने कुल 851 प्रकरणों का निराकरण किया। कुल 4,47,09,088 रुपये के अवार्ड पारित कर प्रकरणों का सुलह समझौते के आधार पर अंतिम निराकरण हुआ। ओरियंटल इंश्योरेंस कम्पनी से अवार्ड राशि रुपये 4,50,000 का चेक मौके पर ही दिलाया गया। कुटुम्ब न्यायालय में भी जटिल मामलों में राजनामा के आधार पर पीठासीन अधिकारी कुटुम्ब न्यायालय विनोद भारद्वाज ने दम्पत्ति का परिवार टूटने से बचाया।
प्रीलिटिगेशन पीठ द्वारा न्यायालय में विवाद आने के पूर्व ही पक्षकारों में आपसी समझौता कराकर कुल 291 प्रकरणों का निराकरण किया गया। इसमें 77,52,630 रुपये की राशि के मामलों में निराकरण हुआ।