2 जून 2017, सरदार सरोवर परियोजना के अंतर्गत प्रदेश के डूब प्रभावित चार जिलों की 7 तहसीलों के 140 गांवों के कुल 18294 ग्रामीणों को आगामी 1 जुलाई,2017 के पूर्व विस्थापित किया जायेगा। इस हेतु सुप्रीम कोर्ट द्वारा दिये आदेश के परिपालन में नर्मदा घाटी विकास विभाग ने इन डूब प्रभावित गांवों एवं उनमें से विस्थापित किये जाने वाले ग्रामीणों के नामों की अधिसूचना जारी कर दी है।
सरदार सरोवर परियोजना के गुजरात में बने बांध की ऊंचाई बढऩे के कारण नर्मदा नदी के फैलाव की जद में खरगौन जिले की कसरावद तहसील के 5 गांवों के 50 विस्थापित, अलीराजपुर जिले की तहसील अलीराजपुर के 14 गांवों के 197 विस्थापित, धार जिले की धरमपुरी तहसील के 412 ग्रामों के 328 विस्थापित, तहसील मनावर के 17 ग्रामों के 2494 विस्थापित एवं तहसील कुक्षी के 35 ग्रामों के 7037 विस्थापित तथा बड़वानी जिले की तहसील ठीकरी के 20 गांवों के 2793 विस्थापित एवं तहसील बड़वानी के 37 गांवों के 5395 विस्थापित हैं।
राज्य सरकार ने इन सभी विस्थापितों के नाम भी जारी कर दिये हैं। जिला खरगौन की तहसील कसरावद के ग्राम ढालखेड़ा एवं जलकोटी, तहसील अलीराजपुर में ग्राम खुंदी, छोटी हथवी, उन्हेला व तिखोला, धार जिले की तहसील धरमपुरी में ग्राम मोरगढ़ी, गुलेटी, नागझीरी,भवगांव, कठोरा एवं लसनगांव, तहसील मनावर में ग्राम सरसगंज, कल्याणपुरा व राजपुरा, तहसील ठीकरी में ग्राम लखनगांव, नंदगांव, संदेवा व मेहगांव, तहसील बड़वानी में ग्राम कल्याणपुरा व बबूलताड़ की 25 प्रतिशत से कम भूमि डूब से प्रभावित है इसलिये यहां के लोगों को विस्थापित नहीं किया जायेगा। इसी प्रकार ग्राम ज्ञानपुरा, रहमतपुरा एवं भारबड्या, तहसील अलीराजपुर के ग्राम बड़ीहथवी, तहसील धरमपुरी में ग्राम उचावद, तहसील मनावर में ग्राम जेतापुरा, तहसील ठीकरी में ग्राम रहड़कोट, तहसील बड़वानी में ग्राम घोंघसी तथा तहसील कुक्षी में ग्राम बरुड की केवल शासकीय भूमि डूब में आ रही है, इसलिये यहां भी किसी का विस्थापन नहीं होगा। तहसील कुक्षी में ग्राम छाछकुंआ तथा तहसील अलीराजपुर में ग्राम जलसिंधी, अंजनवारा, बड़ाअम्बा, डूबखड्या, सकरजा एवं काकडसेला के सभी विस्थापित गुजरात राज्य में पुनर्वासित हो गये हैं, इसलिये यहां कोई विस्थापन नहीं बचा है।
मप्र नर्मदा घाटी विकास प्राधिकरण अपर संचालक रजा खान के अनुसार, अब सरदार सरोवर बांध फुल लेवल पर यानी 138 मीटर से अधिक ऊंचा होगा जिसके लिये सुप्रीम कोर्ट ने भी आदेश दिये हैं। फुल लेवल बढऩे पर जो गांव डूब में आ रहे हैं उनके नाम एवं उनमें रहने वालों लोगों को अधिसूचित करना नियमानुसार जरुरी है, इसीलिये ये अधिसूचित किये गये हैं। इन सबको पहले से ही मुआवजा मिल चुका है परन्तु फिर भी वे डूब क्षेत्र में रह रहे हैं। हमने 18294 ग्रामीणों के नाम जरुर अधिसूचित किये हैं परन्तु इनमें से भी अब सिर्फ 8821 ग्रामीण ही बचे हैं। नर्मदा बचाओ आंदोलन की मेघा पाटकर का यह कहना गलत है कि पचास हजार लोग डूब में आ रहे हैं।
- डॉ नवीन जोशी
डूब प्रभावित चार जिलों के 140 ग्रामों से 18294 ग्रामीण विस्थापित होंगे
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Bhopal 👤By: DD Views: 18403
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