5 अक्टूबर 2024। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव की अध्यक्षता में दमोह जिले के सिंग्रामपुर में रानी दुर्गावती के अद्वितीय योगदान को सम्मानित करते हुए मंत्रि-परिषद की बैठक संपन्न हुई। इस बैठक में कई अहम निर्णय लिए गए, जो राज्य के विकास और सामाजिक कल्याण से जुड़े हैं।
रानी दुर्गावती श्रीअन्न प्रोत्साहन योजना में 3900 रुपये प्रति हेक्टेयर की अतिरिक्त सहायता
मंत्रि-परिषद ने "रानी दुर्गावती श्रीअन्न प्रोत्साहन योजना" के तहत किसानों को 3900 रुपये प्रति हेक्टेयर की अतिरिक्त सहायता राशि स्वीकृत की है। यह राशि महासंघ (Federation) द्वारा क्रय किए गए कोदो-कुटकी की न्यूनतम क्रय मूल्य के अतिरिक्त, किसानों के बैंक खातों में सीधे डीबीटी (Direct Benefit Transfer) के माध्यम से दी जाएगी। योजना वर्ष 2024-25 के तहत इसे लागू किया जाएगा।
फसल ऋण पर शून्य प्रतिशत ब्याज योजना की निरंतरता
मंत्रि-परिषद ने निर्णय लिया कि 2024-25 में सहकारी बैंकों के माध्यम से किसानों को शून्य प्रतिशत ब्याज दर पर अल्पावधि फसल ऋण देने की योजना को जारी रखा जाएगा, जिससे किसानों को राहत मिलेगी।
मध्यप्रदेश जैन कल्याण बोर्ड का गठन
देश में अपने प्रकार की पहली पहल करते हुए, मंत्रि-परिषद ने मध्यप्रदेश जैन कल्याण बोर्ड के गठन का निर्णय लिया है। यह बोर्ड जैन समाज के प्रतिभाशाली बच्चों और युवाओं की शिक्षा, सामाजिक कल्याण, और जैन मुनियों के प्रवास व चार्तुमास के दौरान सुरक्षा और अन्य जरूरतों पर विशेष ध्यान देगा। बोर्ड में एक अध्यक्ष और दो सदस्य होंगे, जिनका कार्यकाल क्रमशः 2 वर्ष श्वेतांबर और 2 वर्ष दिगंबर समाज का होगा। इस कदम से जैन समाज के आर्थिक, सामाजिक और शैक्षणिक विकास को बल मिलेगा।
रानी दुर्गावती स्मारक एवं उद्यान विकसित करने के लिए समिति का गठन
रानी दुर्गावती की स्मृति को चिरस्थायी बनाने के लिए जबलपुर के मदन महल पहाड़ी पर 24 एकड़ भूमि पर 100 करोड़ रुपये की लागत से स्मारक एवं उद्यान विकसित किए जाएंगे। मंत्रि-परिषद ने इसके लिए समिति के गठन की स्वीकृति दी है, जिसमें मुख्यमंत्री, पंचायत और ग्रामीण विकास मंत्री, लोक निर्माण मंत्री, जनजातीय कार्य मंत्री, और संस्कृति व पर्यटन मंत्री सदस्य होंगे। इसमें रानी दुर्गावती की कांस्य प्रतिमा, ओपन एयर थिएटर, कला और शिल्प जोन, फूड जोन, जल संरक्षण संरचनाएं, और कैफेटेरिया जैसी सुविधाएं शामिल होंगी।
अन्य महत्वपूर्ण निर्णय
इसके अतिरिक्त, मंत्रि-परिषद ने चिकित्सा शिक्षा विभाग और लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग के अंतर्गत संचालित नर्सिंग महाविद्यालयों में शैक्षणिक एकरूपता लाने का निर्णय लिया है। स्वशासी नर्सिंग महाविद्यालयों को शासकीय नर्सिंग महाविद्यालयों में परिवर्तित किया जाएगा और 428 स्वीकृत पदों को लोक स्वास्थ्य और चिकित्सा शिक्षा विभाग में शामिल किया जाएगा।
मंत्रि-परिषद ने दमोह जिले की हवाई पट्टी के उन्नयन के लिए सैद्धांतिक सहमति भी प्रदान की है।
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Place:
भोपाल 👤By: prativad Views: 3292
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