कम उम्र के 80% बच्चे प्रतिबंधों के बावजूद कर रहे हैं सोशल मीडिया का उपयोग: रिपोर्ट

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Place: नई दिल्ली                                                👤By: prativad                                                                Views: 1304

26 फरवरी 2025। ऑस्ट्रेलिया के ई-सेफ्टी कमीशन द्वारा किए गए एक नए अध्ययन में चौंकाने वाले तथ्य सामने आए हैं। रिपोर्ट के अनुसार, 13 वर्ष से कम उम्र के 80% बच्चे सोशल मीडिया प्लेटफ़ॉर्म की आयु प्रतिबंध नीतियों को दरकिनार कर रहे हैं और नियमित रूप से YouTube, TikTok तथा Snapchat जैसे प्लेटफ़ॉर्म का उपयोग कर रहे हैं।

अध्ययन में पाया गया कि 8 से 12 वर्ष की आयु के आधे से अधिक बच्चों ने माता-पिता या देखभाल करने वालों के खाते के माध्यम से सोशल मीडिया का उपयोग किया, जबकि केवल 5% बच्चों ने भाई-बहन या मित्र के खाते से लॉग इन किया। वहीं, एक तिहाई से अधिक बच्चों ने स्वीकार किया कि उनके पास अपना स्वयं का खाता है, जो आमतौर पर माता-पिता की सहायता से बनाया गया था।

अध्ययन के प्रमुख निष्कर्ष
27% बच्चों ने बिना किसी खाते के भी सोशल मीडिया का उपयोग किया।
2024 में केवल 13% बच्चों के खाते आयु सीमा से कम होने के कारण बंद किए गए।
8 से 15 वर्ष की आयु के 1,504 बच्चों का यह सर्वेक्षण पिछले सितंबर में ऑस्ट्रेलिया में किया गया।
ई-सेफ्टी कमीशन का कहना है कि इस अध्ययन का उद्देश्य बच्चों के सोशल मीडिया उपयोग की गहराई से जांच करना है, विशेष रूप से उस समय से पहले जब 2025 के अंत में ऑस्ट्रेलिया में 16 वर्ष से कम आयु के बच्चों पर सोशल मीडिया प्रतिबंध लागू किया जाएगा।

ऑनलाइन सुरक्षा कानून में संशोधन
ऑस्ट्रेलिया की सरकार ने नवंबर 2024 में ऑनलाइन सुरक्षा संशोधन विधेयक पारित किया, जिसे 77% जनता का समर्थन प्राप्त हुआ। इस कानून के तहत, 16 वर्ष से कम आयु के बच्चों को सोशल मीडिया अकाउंट बनाने से प्रतिबंधित किया जाएगा।

बिहाइंड द स्क्रीन रिपोर्ट के निष्कर्ष
ऑनलाइन सुरक्षा निगरानी संस्था की "बिहाइंड द स्क्रीन" रिपोर्ट में सोशल मीडिया उपयोग से जुड़ी विसंगतियों को उजागर किया गया है। रिपोर्ट के अनुसार, 16 वर्ष से कम उम्र के 95% बच्चों ने अध्ययन में शामिल आठ प्रमुख सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म में से कम से कम एक का उपयोग किया था। इनमें फेसबुक, इंस्टाग्राम, रेडिट, स्नैपचैट, टिकटॉक, ट्विच, यूट्यूब और डिस्कॉर्ड शामिल हैं।

अध्ययन से यह भी स्पष्ट हुआ कि 8 से 12 वर्ष की आयु के बच्चों में सबसे लोकप्रिय सोशल मीडिया प्लेटफ़ॉर्म यूट्यूब, टिकटॉक, इंस्टाग्राम और स्नैपचैट रहे।

विशेषज्ञों का मानना है कि इस रिपोर्ट के निष्कर्ष सरकार और अभिभावकों के लिए एक चेतावनी हैं, ताकि बच्चों की ऑनलाइन सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए उचित कदम उठाए जा सकें।

भारत में बच्चों के बीच सोशल मीडिया का बढ़ता उपयोग चिंता का विषय
भारत में बच्चों के बीच सोशल मीडिया का उपयोग तेजी से बढ़ रहा है, जो चिंता का विषय बनता जा रहा है। एक हालिया सर्वेक्षण के अनुसार, भारत के शहरी क्षेत्रों में दो में से एक माता-पिता का मानना है कि उनके बच्चे सोशल मीडिया, ओटीटी प्लेटफॉर्म और ऑनलाइन गेमिंग की लत के शिकार हैं।

बढ़ती लत: औसतन 47% माता-पिता का कहना है कि 9-17 आयु वर्ग के उनके बच्चे सोशल मीडिया, वीडियो/ओटीटी और ऑनलाइन गेम्स में हर दिन औसतन तीन घंटे या उससे अधिक समय बिताते हैं।
मानसिक स्वास्थ्य पर प्रभाव: विशेषज्ञों का मानना है कि सोशल मीडिया का अत्यधिक उपयोग बच्चों के मानसिक स्वास्थ्य पर नकारात्मक प्रभाव डाल सकता है, जिससे चिंता, अवसाद और नींद की समस्याएँ हो सकती हैं।
सुरक्षा चिंताएँ: बच्चों को ऑनलाइन शिकारियों, साइबरबुलिंग और अनुचित सामग्री के संपर्क में आने का खतरा भी होता है।

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