×

पांच अनुपयोगी कानून खत्म हुये

Place: Bhopal                                                👤By: prativad                                                                Views: 936

04 मार्च 2023। राज्य सरकार ने पांच अनुपयोगी कानूनों को खत्म कर दिया है। इसके लिये विधानसभा के गत दिसम्बर माह में आयोजित शीतकालीन सत्र में निरसन विधेयक पारित किया गया था जिसे अब राज्यपाल की मंजूरी मिल गई है जिससे अब ये पांचों कानून खत्म कर दिये गये हैं।

ये हैं पांच पुराने कानून :
मध्यप्रदेश बोर्स्टल एक्ट 1928, मध्यभारत लघुवाद न्यायालय अधिनियम 1949, मध्यप्रदेश उद्योग राज्य सहायता अधिनियम 1958, मध्यप्रदेश अश्व रोग अधिनियम 1960 एवं मध्यप्रदेश पशु नियंत्रण अधिनियम 1976 अब खत्म हो गये हैं। मप्र उद्योग राज्य सहायता अधिनियम 1958 एमएसएमई विभाग के तहत आता था जिसे इसलिये खत्म किया गया है कि उद्योगों को सब्सिडी सहित अन्य तरह से आर्थिक सहयोग करने के लिए नए नियम और मापदंड बनाए जा चुके हैं। मध्यप्रदेश बोस्र्टल एक्ट, 1928 को खत्म करने जेल विभाग ने सिफारिश की थी क्योंकि यह बोर्स्टल इंस्टीट्यूट नरसिंहपुर, जेल विभाग के अंतर्गत था। इसके तहत 18 से 21 वर्ष की आयु सीमा के किशारों को रखा जाता था। अब इसकी जरूरत इसलिए नहीं हैं क्योंकि शासन द्वारा किशोर न्याय (बच्चों की देखभाल और संरक्षण) अधिनियम 2000 के द्वारा 18 वर्ष तक के बच्चों के लिए अलग बोर्स्टल होम के प्रावधान किए गए हैं जिन्हें मप्र महिला एवं बाल विकास के तहत संचालित किया जा रहा है। बोर्स्टल इंस्टीट्यूट नरसिंहपुर को वर्ष 2006 में जिला जेल नरसिंहपुर श्रेणी एक में शामिल कर दिया गया था। इसी तरह से अश्व रोग एक्ट 1960 एवं मप्र पशु नियंत्रण एक्ट 1976 दोनों ही अधिनियमों को पशुपालन एवं डेयरी विभाग द्वारा अनुपयोगी और प्रभावहीन बताया गया था। मध्यभारत लघुवाद न्यायालय अधिनियम 1949 तत्कालीन मध्य भारत के ग्वालियर, इंदौर और मालवा क्षेत्र में लघुवाद न्यायालय स्थापित करने के लिए बनाया गया था। इसकी जगह केंद्र सरकार ने ग्राम न्यायालय अधिनियम 2008 लागू कर दिया है। इसके तहत ही ग्रामीण स्तर पर न्याय उपलब्ध कराने के लिए ग्राम न्यायालयों का गठन किया गया है।



- डॉ. नवीन जोशी





Madhya Pradesh, प्रतिवाद समाचार, प्रतिवाद, MP News, Madhya Pradesh News, Hindi Samachar, prativad.com

Related News

Global News