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मुख्य सचिव सहित 50 आईएएस अधिकारियों के विरुध्द लोकायुक्त जांच जारी, जांच सीमा तय नही

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Place: भोपाल                                                👤By: prativad                                                                Views: 1238

7 अगस्त 2023। राज्य का लोकायुक्त संगठन मुख्य सचिव इकबाल सिंह बैंस सहित कुल 50 आईएएस अधिकारियों के खिलाफ कुल 37 प्रकरणों में जांच कर रहा है। दरअसल उज्जैन में विमानतल सालाना लीज पर यश एयरवेज कंपनी को दिया गया था जिसे अपने विमानों की पार्किंग शुल्क भी अनुबंध के अनुसार देना था पर उसने नहीं दिया और न ही वहां कलेक्टर रहे आईएएस अधिकारियों ने भी इस किराये की वसूली उक्त कंपनी से नहीं की। इस मामले में आई शिकायत पर लोकायुक्त ने 24 नवम्बर 2019 को उज्जैन में पदस्थ रहे आठ तत्कालीन कलेक्टरों शिवशेखर शुक्ला, अजातशत्रु श्रीवास्तव, डा. एम गीता, बीएन शर्मा, कवीन्द्र कियावत, संकेत भोंडवे, शशांक मिश्रा एवं एक अन्य आईएएस के खिलाफ भ्रष्टाचार निरोधक कानून के तहत एफआईआर दर्ज की थी। इस मामले में तत्कालीन विमानन सचिव अनिरुध्द मुखर्जी द्वारा दोषी कलेक्टरों को बचाने का लोकायुक्त ने आरोप लगाया जिस पर जीएडी ने मुखर्जी को कासरण बताओ नोटिस जारी किया है और उनसे जवाब लिया है।

जबकि उज्जैन में कलेक्टर रहे आईएएस अधिकारियों के बारे में तथ्यात्मक जानकारी न देने पर वर्ष 2021 को लोकायुक्त ने मुख्य सचिव इकबाल सिंह बैंस एवं तत्कालीन विमानन सचिव एम सेलवेन्द्रम के खिलाफ जांच प्रकरण दर्ज किया हुआ है तथा दोनों को नोटिस जारी कर जवाब ले लिया है और अब उनका जवाब परीक्षणाधीन है।

इन आईएएस अफसरों की भी चल रही है जांच :
प्राप्त अधिकृत जानकारी के अनुसार, लोकायुक्त में इन आईएएस अधिकारियों के खिलाफ भी जांच चल रही है : विवेक पोरवाल, बसंत कुर्रे, एमके अग्रवाल, वेदप्रकाश, हरिसिंह मीना, मुकेश कुमार शुक्ला, राकेश मोहन त्रिपाठी, शीलेन्द्र सिंह, अभिजित अग्रवाल, प्रियंक मिश्रा, शशि भूषण सिंह, सभाजीत यादव, श्रीमती प्रतिभा पाल, भरत यादव, राधेश्याम जुलानिया, संजय कुमार, कौशलेन्द्र विक्रम सिंह, दीपक आर्य, रविन्द्र कुमार चौधरी, वीरेन्द्र सिंह, अवि प्रसाद, वेद प्रकाश व्यास, एनबीएस राजपूत, श्रीमी अरुणा शर्मा, मनोज पुष्प, राहुल जैन, बीएम शर्मा, धनराजू एस, अखिलेश श्रीवास्तव, लक्ष्मीकांत द्विवेदी, वेद प्रकाश शर्मा, तरुण भटनागर, आशीष सिंह, क्षितिज सिंघल, अंशुल गुप्ता, श्रीमती सपना निगम एवं एक अन्य। आईएएस रमेश थेटे के खिलाफ 25 प्रकरणों में जांच की जा रही है और राज्य शासन से अभियोजन की स्वीकृति मांगी गई है जबकि एक 4 फरवरी 2023 को पंजीबध्द एक एफआईआर में थेटे के खिलाफ जांच जारी है। ये सभी प्रकरण वर्ष 2014 से अब 2023 के हैं।
दिलचस्प बात यह है कि लोकायुक्त में अखिल भारतीय सेवाओं के अधिकारियों के विरुध्द प्राप्त शिकायतों की जांच के संबंध में कोई समय-सीमा निर्धारित नहीं है।



- डॉ. नवीन जोशी

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