प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने साल के आखिरी दिन राष्ट्र के नाम अपने संबोधन में देशवासियों को कई नई योजनाओं का तोहफा दिया। मोदी ने गरीबों, बुजुर्गों, महिलाओं से लेकर मध्य वर्ग, सबका ध्यान रखा। प्रधानमंत्री ने इन सब के लिए अलग-अलग योजना का ऐलान किया।
मोदी के संदेश की मुख्य बातें:
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 'नोटबंदी' की तुलना 'शुद्धि-यज्ञ' से की.
मोदी ने एक बार फिर दावा किया कि देश ने 'कंधे से कंधा मिलाकर' उनके फ़ैसले का समर्थन किया.
ग्रामीण समाज और किसानों, गर्भवती महिलाओं, छोटे व्यापारियों, वरिष्ठ नागरिकों और ईमानदार करदाताओं को मदद पहुंचाने के लिए कुछ बड़े ऐलान किए.
हालांकि मोदी ने नोटबंदी से जुड़े आंकड़ों पर और वर्तमान सिस्टम में किसी किस्म के बदलाव पर कोई बात नहीं की.
पीएम मोदी ने कहा कि साल 2016 की दीवाली के बाद भारत 'शुद्धि-यज्ञ' का गवाह बना है, जिसमें देशवासियों के धैर्य का बड़ा योगदान रहा. अपने संदेश में मोदी ने कहा कि उनके पास नोटबंदी को लेकर पूरे देशभर से पत्र आए, जिनमें लोगों ने उन्हें अपना मानकर अपनी बातें कही हैं.
उन्होंने कहा कि जिस मुहिम में देश जुटा हुआ है, उसे सफल बनाने में बड़ी जिम्मेदारी अफ़सरों की भी है. इसके साथ ही कुछ सूचनाएं भी देश के साथ पीएम मोदी ने साझा कीं.
अपने संबोधन में मोदी ने यह भी कहा:
यह सरकार सज्जनों की मित्र है और दुर्जनों को सज्जन बनाने के पक्ष में है.
सरकार के पास दर्ज की गई जानकारी के हिसाब से सिर्फ 24 लाख स्वीकार करते हैं कि उनकी सालाना आय 10 लाख से ज्यादा है.
500 और 1000 के नोटों से देश में 'सामानांतर इकॉनमी' चल रही थी.
अर्थव्यवस्था में कैश का अभाव तकलीफ़देह है, पर इसका प्रभाव और भी तकलीफ़देह है.
नोटबंदी ने आतंकवाद, नक्सलवाद और जाली नोटों पर गहरी चोट की है.
अर्थव्यवस्था से बाहर जो धन था वो अब बैंकों के माध्यम से अर्थव्यवस्था में आ गया है.
आदतन बेईमान लोगों को भी तकनीक के कारण मुख्यधारा में आना ही होगा.
गरीबों को घर बनाने में, घर की मरम्मत कराने में मदद करने के लिए पीएम आवास योजना के तहत रियायतें दी जाएंगी.
इस आवासीय योजना के तहत गावों में 33 प्रतिशत ज्यादा घर बनाए जाएंगे.
इस साल रबी की बुआई हर साल से ज्यादा हुई.
किसानों के लिए कर्ज में छूट का ऐलान किया गया. नाबार्ड और कोऑपरेटिव बैंक से किसानों को सस्ता कर्ज मिलेगा.
छोटे कारोबारियों के लिए क्रेडिट गारंटी बढ़ाई जाएगी.
गर्भवती महिलाओं के लिए भी एक देशव्यापी योजना का ऐलान किया गया. मातृ मुत्यु दर को घटाने के लिए गर्भवति महिलाओं को सरकार की तरफ से छह हज़ार रुपये की मदद दी जाएगी.
ये राशि सीधे गर्भवती महिला के खाते में जमा की जाएगी. वर्तमान में यह राशि 4000 है और 453 जिलों में चलाई जा रही है.
वरिष्ठ नागरिकों के लिए भी है ख़ास योजना. वरिष्ठ नागरिकों को साढ़े सात लाख रुपये तक के जमा पर आठ फ़ीसद का निश्चित ब्याज दिया जाएगा.
समय आ गया है कि राजनीति को काले धन से मुक्त कराने के लिए सार्थक बहस हो और लोकसभा व विधानसभा के चुनाव एक साथ कराए जाएं.
नोटबंदी की तुलना शुद्धि-यज्ञ से
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New Delhi 👤By: DD Views: 18572
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