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मध्यप्रदेश में नई स्टार्टअप नीति बनी

Place: Bhopal                                                👤By: DD                                                                Views: 1131

: अमल 1 अप्रैल 2020 से होगा
जबलपुर, इंदौर, भोपाल एवं ग्वालियर में खुलेंगे सरकारी इन्क्यूबेटर
24 नवंबर 2019। राज्य सरकार ने एमएसएमई विभाग के अंतर्गत नई स्टार्टअप नीति जारी कर दी है। यह नई नीति पिछली भाजपा सरकार से ज्यादा लचीली एवं सुविधा सम्पन्न है। इस पर अमल 1 अप्रैल 2020 से होगा। इसके पहले इस नीति के तहत योजना जारी की जायेगी तथा पोर्टल बनाकर आनलाईन आवेदन लिये जायेंगे। जिन युवाओं का चयन होगा उन्हें जबलपुर, इंदौर, भोपाल एवं ग्वालियर में खोले जाने वाले स्टेट आफ आर्ट इन्क्यूबेटर में अपना स्टार्टअप प्रारंभ करने की सुविधा प्रदान की जायेगी।
उक्त चार महानगरों का सरकारी इन्क्यूबेटर की स्थापना हेतु चयन इसलिये किया गया है क्योंकि इनमें राष्ट्रीय महत्व के उच्च शिक्षण संस्थान हैं। ये इन्क्यूबेटर इन्हीं उच्च शिक्षण संस्थाओं के परिसरों में राज्य सरकार की सहायता से खोले जायेंगे।

इस फील्ड के युवाओं को मिलेगी सुविधा :
नई स्टार्टअप नीति के तहत आईटी बेस्ड प्रोडक्ट्स जिसमें आर्टिफिशियल इन्टेलीजेंस भी शामिल है, बायो टेक्नोलाजी, मेकेनिकल एवं हेल्थ एण्ड हाईजिन क्षेत्र में स्टार्टअप प्रारंभ करने की विशेष सुविधा रखी गई है। राज्य सरकार की दो योजनाओं मुख्यमंत्री उद्यम योजना एवं स्वरोजगार योजना को इससे जोड़ा गया है तथा अधिकतम बीस करोड़ रुपये तक की योजना को इसमें शामिल करने का प्रावधान किया गया है।

इन्क्यूबेटर में ये मिलेंगी सुविधायें :
चयनित युवा को एक साल तक दस हजार रुपये प्रतिमाह राज्य सरकार की ओर से दिया जायेगा। उसे पेटेंट कराने और राष्ट्रीय एवं अंतर्राष्ट्रीय बिजनेस मेलों में भाग लेने की सुविधा प्रदान की जायेगी। चार महानगरों में खुलने वाले सरकारी इन्क्यूबेटरों में चयनित युवा को किराये पर जगद दी जायेगी जिसका भुगतान सरकार करेगी। इन्क्यूबेटर में इंटरनेट एवं आफिस की सुविधा के साथ-साथ बिजनेस मेंटर्स रहेंगे जो बिजनेस प्लान बनाने में भी मदद करेंगे तथा बनाये गये प्रोडक्ट पर निजी क्षेत्र के निवेशक से सहायता दिलाने एवं उसकी मार्केटिंग कराने में भी मदद करेंगे।

पहले की नीति में यह हुआ है :
पिछली स्टार्टअप नीति के तहत प्रदेश में करीब साढ़े छह सौ स्टार्टअप खुल चुके हैं। 32 निजी इन्क्यूबेटरों के माध्यम से युवाओं को सहयोग दिया जा चुका है। नई नीति के तहत भारत सरकार के डिपार्टमेंट फार प्रमोशन आफ इण्डस्ट्री एण्ड इंटरनल ट्रेड यानि डीपीआईआईटी में मप्र से पंजीकृत सभी स्टार्टअप को पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है।

विभागीय अधिकारी ने बताया कि राज्य सरकार ने अभी नई स्टार्टअप नीति जारी की है। इसके बाद नीति पर अमल हेतु शीघ्र योजना जारी की जायेगी। स्टार्टअप करने वाले युवाओं के चयन हेतु पोर्टल बनाया जा रहा है जिसमें आनलाईन आवेदन लिये जायेंगे। 1 अप्रैल 2020 से नीति पर अमल प्रारंभ हो जायेगा। एक स्टार्टअप 11 लोगों को रोजगार देता है। नई नीति पिछली नीति से ज्यादा लिबरल है और सेक्टर विशेष के लिये है।


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